क्या है सीबीएसई का ओपन बुक एग्जाम प्रोजेक्ट।



 Tudawali, rajasthan,india।

3/3/2024, sunday।

 प्रेरणा डायरी। 


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बोर्ड ऑफ़ सेकेण्डरी एजुकेशन (CBSE) ने हाल ही में ओपन बुक एग्जाम के लिए एक पायलट स्टडी प्रोग्राम शुरू करने की बात कही है।  ये कई मामलों नया और ऐतिहासिक प्रोजेक्ट साबित हो सकता हैं। ओपन बुक एग्जाम को 9 वीं और 12वीं क्लास के स्टूडेंटों के लिए करवाया जाएगा। सीबीएसई इसके जरिए एक नया प्रयोग कर रही हैं। इसकी जानकारी स्टूडेंट के लिए होनी चाहिए। इसी बात को मद्देनजर रखते हुए आज की प्रेरणा डायरी पोस्ट में इसी प्रोजेक्ट पर चर्चा करेंगे। 

 इस प्रोजेक्ट के लिए अभी कुछ स्कूलों को चुना जाएगा।  स्कूलों का सिलेक्शन नवंबर और दिसंबर में किया जाएगा। ओपन बुक एग्जाम में नौवीं और दसवीं के अंग्रेजी, मैथमेटिक्स, और साइंस विषय को चुना गया है। वही 11वीं और 12वीं के लिए इंग्लिश, मैथमेटिक्स, और बायोलॉजी को चुना गया है। सीबीएसई 2024 के अंत तक इस पैटर्न से परीक्षा कराने की तैयारी कर रहा है।  इसके लिए पायलट स्टडी की शुरुआत हो रही है।

 क्या है ओपन बुक एग्जाम--



इसे भी पढ़ें - प्रेरणा डायरी - सफलता कि और कदम।
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ओपन बुक एग्जाम के दौरान स्टूडेंट को नोबुक और पुस्तक साथ ले जाने, और उन्हें देखने की इजाजत होती है। सीबीएसई  पहले प्रोजेक्ट चुनिंदा स्कूलों में चलाने की तैयारी कर रहा है। इसके सफल होने या मन मुताबिक परिणाम मिलने पर इसे सभी जगह लागू किया जा सकता है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य एक सटीक मूल्यांकन करना है। इन परीक्षाओं को पूरा करने और फीडबैक इकट्ठा करने में छात्रों को लगने वाले समय को बारीकी से समझा जाएगा। इन सभी मूल्यांकन और परीक्षकों को प्रोजेक्ट परियोजना में किया जा रहा हैं।

 कैसे पूरी होगी योजना -- 

इस पायलट स्टडी प्रोग्राम के लिए सिफारिशें तय की गई है। बोर्ड से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि इसके जरिए परीक्षाओं को पूरा करने का समय, क्रिएटिविटी, और योगात्मक मूल्यांकन किया जाएगा। जो भी स्कूल इसके लिए चुने गए हैं उन्हें इसकी पूरी प्रक्रिया से गुजरना पड़ेगा।  इस पायलट प्रोग्राम का फोकस स्टूडेंट के मानसिक और रचनात्मक कौशल के साथ उसकी विश्लेषण क्षमता को विकसित करना होगा।

 शिक्षा के लिए खास होगा पायलट प्रोजेक्ट --

 सीबीएसई की इस पायलट स्टडी के लिए साल 2024 बहुत खास होने वाला है ओपन बुक टेस्ट का डिजाइन डेवलपमेंट और समीक्षा 2 जून 2024 तक पूरी होगी। स्कूलों में सामग्रियों के परीक्षण की योजना नवंबर दिसंबर 2024 तक पूरी होगी। यानी 2024 में इस प्रोजेक्ट कि सफलता या असफलता तय होगी। इस साल सामने आने परिणाम तय करेंगे कि इस एक्जाम सिस्टम को लागू किया जाएगा, या नहीं। इसलिए यह प्रोजेक्ट शिक्षा जगत के लिए खास प्रोजेक्ट साबित होने वाला है।

 शिक्षा जगत के लिए नया कांसेप्ट --

 ओपन बुक एग्जाम छात्रों के लिए और भारतीय सिस्टम के लिए एक नए तरह का प्रोग्राम होगा । हालांकि ओपन बुक एग्जाम के प्रयोग पहले भी कई बार हुए हैं।  पर वह सीमित हुए थे। इसलिए यह एकदम से नए कांसेप्ट भी नहीं है, क्योंकि हायर एजुकेशन में यह सिस्टम  अपनाया जा चुका है पर यह बहुत पुरानी बात है। सन 2019 में ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन ने कॉलेज में ओपन बुक एग्जाम की अनुमति दी थी। जबकि इस बार सिस्टम को सेकेंडरी एजुकेशन में लागू किया जा रहा है। हालांकि यह लागू होगा या नहीं होगा,  यह बात ओपन बुक एग्जाम के पायलट प्रोजेक्ट की सफलता पर निर्भर हैं । कोविड के दौरान भी दिल्ली यूनिवर्सिटी, अलीगढ़ यूनिवर्सिटी, और जेएनयू ने ओपन बुक टेस्ट से ही मूल्यांकन किया था।

 सीबीएसई के पिछले प्रयास --

 सीबीएसई ने इससे पहले 2014-15 से 2016-17 तक 3 साल के लिए 9 वीं और ग्यारहवीं की वार्षिक परीक्षाओं के लिए ओपन टेक्स्ट आधारित मूल्यांकन प्रारूप का इस्तेमाल किया था। लेकिन सीबीएसई का यह प्रयास सफल हो गया। इस प्रोजेक्ट के प्रति नकारात्मक प्रतिक्रिया आने के आधार पर इसे आगे नहीं बढ़ाया जा सका। इसके बाद हुई बैठकों में बोर्ड ने ओपन बुक असेसमेंट के प्रश्नों में कई उत्तरों की क्षमता को समझने के लिए शिक्षकों को ओपन बुक परिक्षण देने पर भी विचार किया। तत्कालीन बोर्ड अध्यक्ष ने सीबीएसई को प्रभावी ढंग से मामले को जचने के लिए दिल्ली विश्वविद्यालय के अनुभवों का अध्ययन करने की आवश्यकता पर जोर दिया था। उन्होंने यह भी कहा कि प्रोजेक्ट से संबंधित हर पहलू का विस्तृत  और प्रभावी मूल्यांकन और परीक्षण होना चाहिए। हालांकि अब परिणाम सामने आने से तय होगा कि यह प्रोजेक्ट लागू होगा या,  नहीं होगा।

 प्रश्न उत्तर --


 दोस्तों बोर्ड की परीक्षाओं और कई और प्रतियोगी परीक्षाओं का समय चल रहा है। परीक्षाओं के दिनों में स्टूडेंट तनाव में आ जाते हैं और घबराहट उनके लिए आम बात हो जाती है। ऐसे में उनकी वह सवाल भी गलत हो जाते हैं जिनके उत्तर उन्हें अच्छी तरह पता थे। घबराहट में कई बार सवाल छूट जाते हैं। एट ध्यान रखें कि तनाव मुक्त होकर पूरी आत्मविश्वास के साथ अपनी परीक्षा को दें। आज कुछ ऐसे सवालों को लेते हैं जो, परीक्षा के दौर में हर स्टूडेंट के सामने आकर खड़े हो जाते हैं।

 प्रश्न - मैं 10 th क्लास का छात्र हूं। मेरी तैयारी भी बेहद अच्छी है। लेकिन परीक्षा के दिनों में मैं अत्यधिक तनाव और घबराहट से परेशान हो जाता हूं। और एग्जाम में कई सवाल छूट जाते हैं।  और कई पेपर भी खराब हो जाते हैं, मुझे क्या करना चाहिए..?

उत्तर --  आपकी इस समस्या का सबसे बेहतर उपाय यही है कि आपके अंदर  परीक्षा का जो डर है,  उसे बाहर निकाले । डर पैदा होता है आत्मविश्वास की कमी से। अगर तैयारी अच्छी नहीं हो तब भी डर और वह पैदा हो जाता है लेकिन आपके केस में ऐसा नहीं है क्योंकि आप बता रहे हैं कि मेरी तैयारी बेहद अच्छी है। इसका मतलब है कि आपका आत्मविश्वास ठीक नहीं है। आपको अपने कॉन्फिडेंस को डेवलप करना पड़ेगा। यह कार्य आप एक दिन या एक हफ्ता में नहीं कर सकते इसके लिए आपको कुछ कम लंबे समय तक उठाने पड़ेंगे धीरे-धीरे आपका आत्मविश्वास डेवलप होगा। अपने आत्मविश्वास को डेवलप करने के लिए आप निम्न में से कुछ कदम उठा सकते हैं --

1. रोज कुछ समय के लिए प्रेरणादायक साहित्य जरूर पढ़ें।

2. सोच को हमेशा सकारात्मक रखें।

3. डर से मुक्त होने के लिए रोज सुबह योगासन करें।

4.  हमेशा खुश रहने का प्रयास करें।

5. लोगों से खुशी के साथ मिले।

5. आत्मविश्वासी लोगों का साथ चुने।

6. प्रेरणा देने वाले लोगों के बीच अधिक रहे।

8. परीक्षा के समय ध्यान जरूर लगाए।

9. परीक्षा के दौरान माहौल सकारात्मक रखें।

10. धीरे-धीरे परीक्षा के दर को मन से बाहर निकले।

11. तैयारी तनाव ग्रस्त होकर या दबाव में न करें।

12. हमेशा प्रेरित रहे।

13. सफल लोगों की जीवनिया जरूर पढ़ें,इससे आत्मविश्वास में अच्छा डेवलपमेंट होता है।


ब्लॉग नाम -- प्रेरणा डायरी।

डोमन - https://www.prernadayari.com

राइटर -- केदार लाल ( के. एस. लिग्री ) चीफ एडिटर।



 

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